भारत सरकार का सराहनीय कदम ई-सिगरेट बेचोगे तो जाओगे जेल

भारत सरकार का सराहनीय कदम ई-सिगरेट बेचोगे तो जाओगे जेल


ई-सिगरेट पाये जाने या सेवन करते हुये पकड़े जाने पर एक साल की सजा व एक लाख रूपये तक का जुर्माना होगा


नई दिल्ली। केन्द्र सरकार ने युवाओं के भविष्य को नरक बनाने वाली, ई-सिगरेट को पूर्णतया प्रतिबंध कर दिया है। अब भारत के बाजारों में ना तो कोई दुकानदार ईसिगरेट रखेगा ना ही बेच सकेगा। __ केन्द्र सरकार ने तुरन्त यह आदेश दिया है कि जिन दुकानदारों के पास उनकी दुकान में ई-सिगरेट हैं वह उसे या तो निकट के थाने में जमा करा दें या स्टाकिस्ट को वापस कर दें। ई-सिगरेट पाये जाने या सेवन करते हुये पकड़े जाने पर एक साल की सजा व एक लाख रूपये का जुर्माना होगा।


ई-सिगरेट आम बीड़ी सिगरेट तो आदमी के लिये खतरनाक है ही, लेकिन ये ई-सिगरेट तो भारतीय सिगरेटों से सौ गुना ज्यादा खतरनाक है जो हमारे युवाओं को अपने चंगुल में फसा रही है। इस सिगरेट के माध्यम से सिगरेट में रखा निकोटिन जहर  भाप के रूप में आदमी के फेफडों पर सीधा अटैक करता है। यह सिगरेट चीन सरकार द्वारा निर्मित है। ये बैटरी से संचालित होती है। इसमें एक एल.ई.डी बल्ब लगा होता है तो सिगरेट पीते समय जलता है तथा उसके तुरन्त बाद बन्द हो जाता है। चीन ने इस घातक जहर को भारत के बाजार में धकेल दिया है ताकि हमारे देश के युवा इसके शिकार हो जाये। शैक्षिक संस्थानों में पढ़ने वाले छात्र-छात्रायें इस ई- सिगरेट का धड़ल्ले से सेवन कर रही है। 


केन्द्र सरकार का सराहनीय कदम


सराहनीय कदम केन्द्रीय मंत्री मण्डल ने ई- सिगरेट जैसी भयंकर व जानलेवा जहर पर प्रतिबंध लगाकर अत्यन्त सराहनीय कार्य तो किया है। लेकिन  इसका फायदा जब होगा जब हमारे देश के लालची दुकानदार इस जहर को दुकान से बाहर फैकने की हिम्मत दिखाये तथा ई-सिगरेट मांगने वाले युवाओं को हत्तोसाहित करें। तभी इसका पूर्णतया लाभ देश को मिल पायेगा। साथ ही सरकार को भी चाहिये कि केवल कानून बनाने से काम नहीं चलेगा। बल्कि सख्ती से इसे लागू कराना भी उनकी प्राथमिकता होनी चाहिये, नहीं तो तम्बाकू, गुटखे पर भी प्रतिबंध लगा है लेकिन सब हवा-हवा में ही है। इनकी बिक्री खुलेआम हो रही है।